देवभूमि के लाल ‘शहीद राकेश डोभाल ‘ हुए पंचतत्व में विलीन, सैन्य सम्मान के साथ पूर्णानंद घाट मुनिकीरेती में किया गया अंतिम संस्कार

MY BHARAT TIMES, RISHIKESH, देवभूमि उत्तराखंड को एक अन्य नाम से भी जाना जाता है, जिसे वीरों की भूमि कहा जाता है। उत्तराखंड के जवान हमेशा अपने देश की रक्षा के लिए बॉर्डर पर तैनात रहकर देश के दुश्मनों को धूल चटा देते हैं। देश के दुश्मनों से लोहा लेते हुए प्रदेश के कई जवान प्रत्येक वर्ष देश के लिए शहीद हो जाते हैं, उसके बावजूद भी उनके परिवार का जज्बा देश प्रेम के लिए बढ़ता ही जाता है। देश की रक्षा करते हुए बारामुला क्षेत्र में नियंत्रण रेखा पर शहीद हुए तीर्थनगरी ऋषिकेश के लाल शहीद राकेश डोभाल को पूर्णानंद घाट पर आज सैन्य सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी गयी। बीएसएफ की तोपखाना यूनिट में तैनात उप निरीक्षक राकेश डोभाल शुक्रवार को पाकिस्तान की ओर से की गयी गोलाबारी में शहीद हो गए थे। आज सुबह आठ बजे बीएसएफ के जवान शहीद राकेश डोभाल के पार्थिव शरीर को लेकर उनके गंगा नगर गणेश विहार स्थित आवास पर पहुँचे। शहीद के घर पर सुबह से ही स्वजनों और आस-पास के नागरिकों का तांता लग गया था।जब शहीद का पार्थिव शरीर उनके आवास पर पहुँचा तो वहाँ पर मौजूद लोगों और परिवार जनों में कोहराम मच गया। सभी की आँखें नम थी, शहीद का पार्थिव शरीर देखकर माँ और पत्नी दोनों बेहोश हो गए।

कुछ देर के लिए शहीद का पार्थिव शरीर अंतिम दर्शन के लिए घर पर ही रखा गया। जहाँ पर विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल, कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह, ऋषिकेश की महापौर अनीता ममगाईं ने शहीद राकेश डोभाल को श्रद्धांजलि अर्पित की। शहीद राकेश डोभाल की 10 वर्षीय पुत्री मौली ने जय हिंद का नारा लगाकर पिता को सैल्यूट किया और अपने साहस का परिचय देते हुए कहा कि बड़े होकर वह भी सेना में जायेंगी और देश के दुश्मनों को हरायेंगी। परिवार जनों ने किसी तरह से रोते-बिलखते स्वजनों को सांत्वना दी। लगभग साढ़े नौ बजे शहीद राकेश डोभाल की अंतिम यात्रा गंगा नगर स्थित उनके आवास से पूर्णानंद घाट मुनिकीरेती के लिए रवाना हुई। जब तक सूरज चांद रहेगा- राकेश तुम्हारा नाम रहेगा, शहीद राकेश डोभाल-अमर रहे, राकेश तुम्हारा बलिदान-नहीं भूलेगा हिंदुस्तान, भारत माता की जय के नारों से आसमान गूंज उठा। देश भक्ति गीतों की धुन पर शहीद की अंतिम यात्रा पूर्णानंद घाट पहुँची। शहीद की अंतिम यात्रा में भारी जन सैलाब उमड़ पड़ा।

अंतिम यात्रा मार्ग पर जगह-जगह शहीद को पुष्पवर्षा कर नागरिकों ने श्रद्धांजलि अर्पित की। गंगा घाट पर शहीद के छोटे भाई मयंक डोभाल ने शहीद राकेश डोभाल की चिता को मुखाग्नि दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि के रूप में शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय ने शहीद राकेश डोभाल को श्रद्धांजलि अर्पित की। इस अवसर पर उप जिलाधिकारी ऋषिकेश वरुण चौधरी, पुलिस क्षेत्राधिकारी ऋषिकेश डीएस ढौंडियाल, कोतवाली प्रभारी निरीक्षक रितेश शाह, थाना प्रभारी निरीक्षक मुनिकीरेती आरके सकलानी के साथ ही सैकड़ों की संख्या में पहुँचे क्षेत्रवासियों ने शहीद को नाम आँखों के श्रद्धांजलि अर्पित की। इस दौरान भारत माता की जय और पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगाए गए।

शहीद राकेश डोभाल की बेटी ने कहा कि सैनिक हमेशा हमारी और हमारे देश की रक्षा करते हैं, इसलिए हमेशा सैनिकों का सम्मान करना चाहिए, यह बात कहते हुए शहीद की बेटी ने ‘वन्दे मातरम’ के नारे भी लगाए। इस दौरान पत्रकारों के मुखातिब होते हुए मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि के रूप में अरविन्द पांडेय शहीद राकेश डोभाल को अपनी और मुख्यमंत्री की तरफ से श्रद्धा-सुमन अर्पित करने की बात कही और साथ ही कहा कि एक माता के लाल ने अपनी जन्म देने वाली माता से भी बढ़कर भारत माता की रक्षा को विशेष स्थान दिया, ऐसे वीर को में नमन करता हूँ और परिवार को इस दुःख की घडी से निकलने में भगवन परिवार को शक्ति दें। इसके अलावा उन्होंने कहा कि शहीद द्वारा देश की रक्षा के लिए किये गए बलिदान की कीमत किसी भी मूल्य पर नहीं चुके जा सकती है लेकिन जितना भी राज्य सरकार से परिवार की सहायता हो सकेगी वह सहायता राशि संतिप्त परिवार को प्रदान की जाएगी और इसके अलावा भी मुख्यमंत्री अपने स्तर से परिवार की सहायता करेंगे।

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