MY BHARAT TIMES, नई दिल्ली। एक बार फिर से देश में मानसून रफ्तार पकड़ने वाला है, जिसके चलते फिर से उत्तर भारत सहित देश के अधिकांश हिस्सों में बारिश का अलर्ट जारी किया है। मानसूनी बारिश के चलते उत्तराखंड- हिमाचल प्रदेश पहले ही बाढ़-भूस्खलन का सामना कर चुका है। ऐसे में उत्तराखंड के लिए आरेंज अलर्ट जारी किया गया है। इतना ही नहीं देश के कई राज्यों में 3-4 दिनों तक भारी बारिश का पूर्वानुमान भी जारी किया गया है। मानसून के एक्टिव होने से जहां-जहां बारिश कम हुई है वहां पर भरपाई हो सकती है। इसके अलावा एक बार फिर से पहाड़ी इलाकों में बाढ़-भूस्खलन की घटनाएं बढ़ने की संभावना है। यही वजह है कि मौसम विभाग की तरफ से अलर्ट जारी किया गया है।
पहाड़ी इलाकों में आज फिर शुरू होगा बारिश का दौर, बाढ़- भूस्खलन का बढ़ेगा खतरा
बता दें कि पिछले 2-3 हफ्तों के बीच उत्तराखंड और उत्तर पश्चिम में बारिश पर ब्रेक लगा है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, यह पर लगभाग 61 प्रतिशत बारिश हुई है, लेकिन अब मानसून की रफ्तार पर लगी ब्रेक हटने वाली है, जिसके तहत पहाड़ी इलाकों में आज से बारिश का दौर शुरू हो जाएगा। ऐसे में एक बार फिर से यहां पर बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं बढ़ने की आशंका है।
अगले पांच दिनों तक देश के इन राज्यों में झमाझम बारिश का अलर्ट
स्काइमेट और मौसम विभाग के मुताबिक, दिल्ली, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश में अगले पांच दिनों तक बिजली चमकने के साथ भारी बारिश हो सकती है। इसके अलावा गुरुवार और शुक्रवार को उत्तरांखड में भारी बारिश का अलर्ट जारी हुआ है, जिसके चलते मौसम विभाग ने पूरे उत्तराखंड में आरेंज अलर्ट जारी किया है। यहां पर 23 अगस्त तक आरेंज अलर्ट के साथ येलो अलर्ट जारी रहेगा। ऐसे में देश के जिन इलाकों में बारिश अच्छी नहीं हुई है वहां पर भरपाई हो सकती है।
दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और पूर्वी राजस्थान में येलो अलर्ट
दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और पूर्वी राजस्थान में आज से लेकर शनिवार तक येलो अलर्ट जारी किया गया है। इस दौरान कहीं-कहीं भारी बारिश और गरज के साथ बौछारें पड़ने की संभावना जताई गई है। दरअसल, मौसम की स्थिति में बदलाव की मुख्य वजह मानसून ट्रफ के पश्चिमी छोर के दक्षिण की ओर शिफ्ट होना बताया गया है। अगले दो दिनों में यह मानसून ट्रफ दक्षिण की ओर शिफ्ट हो जाएगी
जानें-मानसून का ताजा अपडेट
इसके अलावा एक कम दबाव का क्षेत्र और चक्रवाती हवाओं का दवाब गुरुवार सुबह झारखंड और उत्तरी छत्तीसगढ़ के ऊपर बना हुआ है। अगले कुछ दिनों में सिस्टम के पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने का अनुमान है और यह शुक्रवार को मध्य प्रदेश, शनिवार को उत्तर प्रदेश में होते हुए रविवार को राजस्थान में पहुंच सकता है। कम दबाव के कारण इन क्षेत्रों में भारी भारिश का अलर्ट जारी किया गया है।
1 जून से 18 अगस्त तक उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में क्षेत्र में 10 प्रतिशत की कमी
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, जुलाई में सक्रिय मानसून के बावजूद 1 जून से 18 अगस्त तक उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में वर्षा में लगभग 10 प्रतिशत की कमी देखी गई है। जम्मू, कश्मीर और लद्दाख में अधिकतम 25 प्रतिशत बारिश की कमी दर्ज हुई है। ऐसे में मानसूनी बारिश के फिर से शुरू होने पर यहां पर भरपाई हो सकती है।