केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के 82वें स्थापना दिवस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) और गृह मंत्री अमिस थाह ने जवानों और उनके परिवारों को बधाई दी। पीएम मोदी ने कहा कि सीआरपीएफ हमारे राष्ट्र को सुरक्षित रखने में सबसे आगे है। इस बल के साहस और व्यावसायिकता की व्यापक रूप से प्रशंसा की जाती है। आने वाले वर्षों में सीआरपीएफ और भी अधिक ऊंचाइयां हासिल करे।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भी स्थापना दिवस पर सीआरपीएफ को शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि सीआरपीएफ वीरता, साहस और बलिदान का पर्याय है। समय-समय पर सीआरपीएफ ने देश को गौरवान्वित किया है। कोरोना वायरस के दौरान समाज की सेवा के लिए उनका समर्पण अद्वितीय है। मैं अपने बहादुर जवानों और उनके परिवारों को शुभकामना देने के लिए लाखों भारतीयों के साथ शामिल हूं। गृह मंत्री सीआरपीएफ के 82वें स्थापना दिवस समारोह में भाग भी लेंगे।
CRPF is synonymous with valour, courage and sacrifice.
Time and again @crpfindia has made the nation proud. Their dedication to serve the society during COVID-19 is unparalleled.
I join millions of Indians to wish our brave CRPF personnel and their families on 82nd Raising Day.
82वें स्थापना दिवस पर सीआरपीएफ के डीजी आनंद प्रकाश माहेश्वरी ने कहा कि हम उन सब शहीदों के ऋणी हैं जिन्होंने सर्वोच्च बलिदान दिया है। 2200 से अधिक वीरों ने शहादत दी है। ये बल उनके त्याग और बलिदान को वीरोत्सव के रूप में मनाता है। लगभग 2000 वीरता पदकों से इस देश ने इस बल को अलंकृत किया है।
27 जुलाई, 1939 को सीआरपीएफ की क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस (सीआरपी) के रूप में अस्तित्व में आई थी। 28 दिसंबर, 1949 को इसे केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) बना दिया गया। सीआरपीएफ ने 80 साल का गौरवशाली इतिहास पूरा कर लिया है। पाकिस्तानी घुसपैठियों की ओर से शुरू किए गए हमलों के बाद सीआफपीएफ के जवानों को जम्मू-कश्मीर की पाकिस्तानी सीमा पर तैनात किया गया।